सर्दियों के मौसम में बार-बार होने वाले संक्रमण से बचने के लिए इम्यून सिस्टम को मजबूत रखना जरूरी है। हल्दी, अदरक, और खट्टे फल जैसे संतरा, आंवला, और नींबू न केवल शरीर को पोषण देते हैं, बल्कि रोग प्रतिरोधक क्षमता को भी बढ़ाते हैं। इनसे बने इम्युनिटी बूस्टिंग शॉट्स संक्रमण से लड़ने में प्रभावी हैं।
इम्यूनिटी बूस्टर खाद्य पदार्थ और उनके लाभ
1. हल्दी
हल्दी में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-वायरल गुण होते हैं। इसमें मौजूद कर्क्यूमिन सूजन को कम करता है और ऊर्जा का स्तर बनाए रखता है। दूध में हल्दी मिलाकर पीने से अनिद्रा और मौसमी संक्रमण से राहत मिलती है।
2. आंवला
आंवला में भरपूर मात्रा में विटामिन सी और एंटी-माइक्रोबियल प्रॉपर्टीज होती हैं, जो शरीर को संक्रमण से बचाती हैं। इसका सेवन पाचन को बेहतर बनाता है और शरीर को डिटॉक्स करता है।
3. अदरक
अदरक में मौजूद जिंजरोल और बायोएक्टिव कंपाउंड पाचन को ठीक रखते हैं। इसके एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण गले की खराश और मौसमी संक्रमण से राहत दिलाते हैं।
4. संतरा और नींबू
ये खट्टे फल विटामिन सी के अच्छे स्रोत हैं, जो शरीर में इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाते हैं। इनका सेवन मौसमी फ्लू और सर्दी-जुकाम से बचाव में मदद करता है।
इम्युनिटी शॉट्स के फायदे
- हीमोग्लोबिन में सुधार
आंवला और हल्दी शरीर को डिटॉक्स करते हैं, जिससे रक्त शुद्ध होता है और हीमोग्लोबिन का स्तर बढ़ता है। - हड्डियों को मजबूती
संतरा, हल्दी और आंवला शरीर में कैल्शियम के अवशोषण को बढ़ाते हैं, जिससे हड्डियां मजबूत होती हैं। गठिया के मरीजों के लिए यह लाभकारी है। - सूजन को कम करना
हल्दी और अदरक के एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण शरीर में सूजन को कम करते हैं, खासतौर पर घुटनों और टांगों में। - संक्रमण से सुरक्षा
इस जूस में मौजूद विटामिन सी और अन्य पोषक तत्व मौसमी संक्रमण से बचाव करते हैं और इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाते हैं।
इम्युनिटी शॉट्स बनाने की विधि
सामग्री:
- अदरक: 1 इंच
- कच्ची हल्दी: 2 इंच
- आंवला: 1
- नींबू का रस: 2 चम्मच
- संतरा: 1
- काली मिर्च: 1/4 चम्मच
- काला नमक: स्वादानुसार
- पानी: आवश्यकतानुसार
विधि:
- संतरे को बीज रहित करके जूसर में डालें।
- उसमें अदरक, कच्ची हल्दी और आंवला मिलाकर जूस तैयार करें।
- तैयार जूस को छानकर उसमें नींबू का रस, काली मिर्च और काला नमक मिलाएं।
- अच्छे से मिलाकर सेवन करें।
ध्यान दें: दिन में 150 मिली से अधिक न पिएं। सप्ताह में 2-3 बार इसका सेवन पर्याप्त है।